सिंधु समाज के सिंधु पंचायत चुनाव में महिलाओं को मतदान का अधिकार हो लवली महराज सिंधु घाटी सभ्यता दुनिया की सबसे प्राचीन सभ्यता है जिसने दुनिया को ज्ञान विज्ञान अध्यात्म के साथ सनातन धर्म की अलौकिक रोशनी और राह दिखाई सिंधु सभ्यता के वंसाजो ने दुनिया में ज्ञान विज्ञान जीवन जीने के सलीका सिखाया एक उदार सहज सरल सभ्य समाज का नेतृत्व किया है इस क्रम में आदि काल से इसमें मात्र शक्ति का बेहद अहम भूमिका रही है मात्र शक्ति के बिना विकसित सभ्य समाज की कल्पना भी नहीं की जा सकती यदि कोई समाज या घर परिवार मातृ शक्ति को अनदेखा कर आगे बढ़ता है तो उसका विकास अधूरा हीं रहता है
सिंधु समाज की वर्तमान सामाजिक स्थिति पर बोलते हुए सिंधु समाज के एकमात्र अघोर साधक बाबा लवली महराज ने समाज को संबोधित करते हुए आगे अपनी वाणी में कहा कि
सिंधु समाज ने आदिकाल से ही अपनी मातृ शक्ति को सर्वोपरि रखा है और उसका समुचित आदर किया है शायद इसीलिए ही सिंधु समाज इतने आघात के बावजूद भी अपने को मजबूती से खड़ा कर पाता है, हिंद के बतवारे के बाद समाज ने जो हृदय विदारक त्रासदी झेली और समाज अर्श से फर्श पे आया तो समाज में बिखराव आना शुरू हुआ किंतु थोड़े समय के बाद ही एक बार फिर से खुद को संभालने लगा और एकजुट होने का प्रयास किया। इसलिए ही हर गांव शहर में अपनी पुरानी सामाजिक व्यवस्था पंचायत स्वरूप में एकजुट होने का सफल प्रयास किया, यहां बताना जरूरी है कि भारत में ही नही पूरे विश्व को पंचायती लोकतांत्रिक व्यवस्था सिंध के गौरवशाली सिंधु समाज की ही देन है
भारत में बटवारा के बाद जो सामाजिक पंचायत चुनाव हुए या होते है उसमे महिलाओं को मत अधिकार से दूर रखा गया हो सकता है सिंधू समाज ने अतीत में जो महिलाओं पर हुए हमले का दर्द झेला उसको ध्यान में रख कर सुरक्षा की दृष्टि से चुनाव से दूर रखा गया हो किंतु अब स्थिति परिस्थिति बदल चुकी है, सिंधु समाज और सिंधु समाज की मातृ शक्ति सशक्त हो गई है सिंधु समाज की महिलाए पुरुषो से ज्यादा शिक्षित सबल बन चुकी है सभ्यता संस्कार धर्म संस्कृति का अनूठा अनुपम मिशाल है घर परिवार को बुद्धिमानी से कुशलता से संभालने के साथ साथ बड़ी बड़े कंपनिया और बड़ी बड़ी अधिकारी बन शासन और प्रशासन को सफलता से चला रही है जब जब भी उनको अवसर मिला महिला शक्ति ने स्वयं को न किवल सिद्ध किया है बल्कि अन्य समुदाय के लिए एक नायाब प्रेरणा स्त्रोत भी है, किंतु ये विडंबना ही है अपने ही समाज में सामाजिक विकास में उनको भागीदारी का अवसर नहीं मिल पाया है आज हम एकस्वी सदी में पहुंच गए है आज समाज को अपनी सोच बदलने की आवश्यकता है। समाज के बहुरमुखी विकास के लिए सामाजिक पंचायती व्यवस्था में मातृ शक्ति को और ताकतवर करने की आवश्यकता है जागरूक करने की अहम जरूरत है इसलिए समाज के प्रबुद्ध वर्ग से पंचायत पदाधिकारियों से सामाजिक संगठनों से विनम्र निवेदन है कि इस वर्ष जहां भी जिस शहर में भी पंचायत चुनाव हो वहां महिला शक्ति को भी प्रतिनिधित्व दे। चुनाव में मतदान का बराबरी का अधिकार दे ताकि समाज में घटित होने वाले महिलाओं से संबंधित मुद्दों को और भी बेहतर ढंग से समझा जा सके और सुलझाया जा सके इससे महिलाओं में आत्म विश्वास भी बढ़ेगा और आत्म शक्ति भी बढ़ेगी महिलाए अपनी समस्याएं अपनी बात मुखर हो कह सकेगी
लवली महराज जी के नेतृत्व में सामाजिक जाग्रति के लिए बनी टीम झूलेलाल की फौज टीम के ऊर्जावान मुखर योद्धा धमतरी छत्तीसगढ़ के अमित पिंजानी ने समाज के प्रबुद्ध वर्ग से अपील करते हुए कहा कि इसी के साथ साथ अन्य समाज के लिए भी सिंधु समाज एक आदर्श उदाहरण और प्रेरणा बन सकेगा सिंधु समाज महिलाओं के सामाजिक पंचायती मतदान का अधिकार देने वाली भारत का पहला समाज होने का गौरव भी हासिल करेगा
सिंधी पंचायत में महिलाओं को भी मतदान का अधिकार हो लवली महाराज।
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