जयपुर मानसरोवर में श्रीमद् भागवत कथा का आयोजन

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आंतरिक आनंद के प्रतीक हैं भगवान श्री कृष्ण: दुबे
-मानसरोवर के वेदना निवारण में भागवत कथा में मनाया नंदोत्सव
जयपुर। किरण पथ मानसरोवर स्थित श्री वेदमाता गायत्री वेदना निवारण केंद्र में अखिल विश्व गायत्री परिवार की संस्थापिका वंदनीया माताजी भगवती देवी शर्मा के जन्म शताब्दी वर्ष के उपलक्ष में आयोजित श्रीमद्भागवत भागवत कथा में गुरुवार को चतुर्थ दिन बहुत ही उत्साह औऱ उमंग के साथ कृष्ण जन्म पर नन्दोत्सव मनाया गया। रंग बिरंगे गुब्बारों, रंगीन लटकन, छतरियों और फूलों से सजे कथास्थल में जैसे ही कान्हा के जन्म की घोषणा हुई तो उपस्थित श्रद्धालु भाव विभोर हो गए। जयकारों से कथा स्थल गूंजायमान हो उठा। व्यास पीठ से शांतिकुंज हरिद्वार से पधारे पंडित श्याम बिहारी दुबे ने कहा कि भगवान श्री कृष्ण आंतरिक आनंद के प्रतीक हैं। कृष्ण में प्रेम ही आकर्षण है। नंद बाबा श्रेष्ठ और सात्विक प्रेममयी महापुरुष हैं तो यशोदा वात्सल्य में रंगी हुई सुनारी हैं। आज परिवारों में आनंद कमी दिखाई दे रही है। परिवारों में आनंद की अधिकता हो, इसलिए आज कृष्ण जन्मोत्सव मनाए जाते है। नंदोत्सव के दौरान हरिप्रसाद चौधरी, सोमेश्वर तांडी, रुद्रगिरी, मनोज ने नंद के आनंद भयो जय कन्हैया लाल की…, यशोदा मैया दे दो बधाई… जैसे बधाईगान और प्रज्ञागीत श्रवण कराकर माहौल को भक्तिमय बना दिया। पलना में बाल स्वरूप की जीवंत झांकी के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं का उत्साह देखते ही बनता था। बधाई गान पर टॉफी खिलौने, बॉल की जमकर उछाल की। पुष्प वर्षा के बीच श्रद्धालुओं ने नृत्य कर कान्हा जन्म की खुशियां मनाई। प्रारंभ में यजमानों ने यजमानों ने भागवत जी औऱ वेदमाता का पूजन किया। पूजा-अर्चना करवा करके कथा का शुभारंभ किया।  विकसित होगा पीड़ा पतन निवारण का केन्द्र: गायत्री परिवार राजस्थान के प्रभारी ओम प्रकाश अग्रवाल ने बताया कि अखिल विश्व गायत्री परिवार की संस्थापिका  वंदनीय माताजी भगवती देवी शर्मा ने आजीवन पीड़ा पतन का निवारण किया। इसलिए वेदमाता गायत्री वेदना निवारण केंद्र की स्थापना का मुख्य उद्देश्य भी लोगों का दु:ख दर्द करना है। कोरोना काल में इस केंद्र के माध्यम घर-घर में निशुल्क भोजन पहुंचाया गया। पिछले रविवार को लम्पी ग्रसित गायों के लिए औषधि युक्त लड्डू बनाकर वितरण किया गया। आगामी दिनों में यहां नशा मुक्ति केंद्र की स्थापना की जाएगी। असहाय गरीब बच्चों के लिए निशुल्क आवासीय विद्यालय की स्थापना की जाएगी। योग एवं स्वास्थ्य के लिए निशुल्क व्यवस्था की जाएगी।

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